कोरोना संक्रमित भी दे सकेंगे वोट पहचान के लिए मास्क और पीपीई किट नहीं हटाया जाएगा और न ही लगेगी अंगुली पर स्याही
जयपुर नगर निगम के चुनाव में वोटिंग दो चरणों में होंगी। इस बार इन चुनावों में मतदान की नई व्यवस्था देखने को मिलेगी, जिसके तहत जब सभी सामान्य मतदाता निर्धारित वोटिंग समय तक वोट देकर जा चुके होंगे उसके बाद दूसरे मतदाता वोटिंग करने आएंगे। ये मतदाता भी सामान्य वोटर ही होंगे, लेकिन फर्क इतना है कि ये कोरोना संक्रमित होंगे।
जी हां हम बात कर रहे है कोरोना से संक्रमित मरीजों के मतदान की व्यवस्था के बारे में। कोरोनाकाल में जहां सोशल डिस्टेंसिंग के साथ चुनाव कराना चुनौती है, वहीं दूसरी ओर प्रशासन संक्रमित मतदाताओं को सुरक्षित तरीके से वोट डलवाने को लेकर भी तैयारी कर रहा है।
किस वार्ड में कितने कोरोना मरीज है इसकी सूची एक दिन पहले देर शाम तक तैयार की जाएगी। ये सूची मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी के निर्देशन में रिटर्निंग अधिकारी और कोरोना डयूटी में लगाए नोडल अधिकारी वार्ड वार तैयार करेंगे।
अलग से होगा मतदान का समय
जिला निर्वाचन अधिकारी जयपुर अंतर सिंह नेहरा ने बताया कि संक्रमित मतदाताओं के लिए मतदान का अलग से समय निर्धारित किया जाएगा। ये समय शाम साढे 5 बजे बाद का होगा, जब सामान्य मतदाता वोटिंग करके जा चुके होंगे ताकि उनके आने से अन्य दूसरे मतदाताओं को कोरोना होने का खतरा न हो।
संक्रमित मतदाता को देनी होगी सूचना
कोविड—19 पॉजिटिव मतदाता को मतदान के लिए निर्वाचन आयोग के निर्देशों की पालना करनी होगी। जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि यदि मतदाता मतदान की इच्छा व्यक्त करता है तो इसके लिए पहले सीएमएचओ और संबंधित पीठासीन अधिकारी से सम्पर्क करना होगा, ताकि सूची में उस व्यक्ति का नाम जोड़कर उसके मतदान के लिए समय निर्धारित किया जा सके।
नहीं लगेगी अंगुली पर स्याही, न करने होंगे हस्ताक्षर
कोविड पीडित व्यक्ति को मतदान सबसे अन्त में कराया जाएगा। इसके साथ ही ऐसे व्यक्ति स्वास्थ्य कर्मीयों की देख-रेख में चिकित्सा विभाग के प्रोटोकॉल-निर्देश एवं इस संबंध में नियत सभी उपायों की पालना करते हुए मतदान स्थल पर पहुचेंगे।
मतदान दल के सभी सदस्य ऐसे व्यक्ति के द्वारा मतदान के समय गलब्ज पहनकर रहेंगे और सुरक्षा के अन्य समस्त उपायों का अनुपालन करेंगे। इसके साथ ही ऐसे व्यक्ति की पहचान के लिए पीपीई किट, मास्क नहीं हटवाया जाएगा। वहीं उसकी अंगुली पर अमिट स्याही और मतदाता रजिस्टर में उसके हस्ताक्षर करनें की अनिवार्यता नहीं होगी।