हुंडई की नई रणनीति भारतीय बाजार में 3200 करोड़ रुपए निवेश करेगी कंपनी, बजट ईवी लॉन्च कर बढ़ाएगी ऑडियंस ग्रुप
दुनियाभर में ऑटो उद्योग इलेक्ट्रिफिकेशन की ओर बढ़ रहा है और भारत में भी कई निर्माता अपनी ईवी लाइनअप का लगातार विस्तार कर रहे हैं। हाल ही में हुंडई ने खुलासा किया कि कंपनी अगले चार सालों में भारतीय बाजार में 3200 करोड़ रुपए का निवेश करेगी। इसे पूंजी का इस्तेमाल कंपनी अपनी लाइनअप का विस्तार करने में करेगी, जिसमें इलेक्ट्रिक व्हीकल भी शामिल हैं।
एक हजार करोड़ सिर्फ सस्ते ईवी पर खर्च करेगी कंपनी
कुल निवेश में से 1,000 करोड़ रुपए एक नए सस्ते इलेक्ट्रिक व्हीकल को तैयार करने में खर्च किया जाएगा। वाहन को पूरी तरह से स्थानीय स्तर पर डेवलप किया जाएगा और कंपनी इसके कंपोनेंट्स के लिए पहले से ही लोकल वेंडर्स के साथ बातचीत कर रही है। हुंडई अपनी सिस्टर कंपनी किआ के साथ भी साझेदारी कर सकती है, क्योंकि किआ भी भारत में अपने पोर्टफोलियो में ईवी को जोड़ने की तैयारी कर रही है।
भारतीय बाजार में हुंडई की कोना ईवी पहले से मौजूद है
वर्तमान में, हुंडई मोटर इंडिया लिमिटेड के पोर्टफोलियो में केवल एक ही इलेक्ट्रिक वाहन कोना ईवी है। कोना ईवी की कीमत 23.75 लाख रुपए से 23.94 लाख रुपए के बीच है। (एक्स-शोरूम, नई दिल्ली)।
ज्यादा कीमत होने के कारण यह फिलहाल कई लोगों की पहुंच से बाहर है। ऐसे में एक सस्ता ईवी से न सिर्फ कंपनी की ज्यादा ग्राहकों तक पहुंच बढ़ेगी बल्कि इससे ईवी की बिक्री में भी सुधार होगा।
पिछले साल सबसे ज्यादा बिकी टाटा की नेक्सन ईवी
पिछले साल, टाटा नेक्सन ईवी भारत में सबसे ज्यादा बिकने वाली इलेक्ट्रिक कार थी। वर्तमान में इसकी कीमत 13.99 लाख से 16.40 लाख (एक्स-शोरूम, नई दिल्ली) के बीच है। यह हुंडई कोना ईवी की तुलना में काफी सस्ती है और इसके सबसे ज्यादा बिकने की वजह है। ऐसे में हुंडई सस्ती ईवी लाकर एक बड़े ऑडियंस ग्रुप को आकर्षित करेगी और इलेक्ट्रिक कार बाजार के एक बड़ा हिस्से पर कब्जा करने में मदद मिलेगी।
अपकमिंग ईवी मिनी एसयूवी हो सकती है
हुंडई का अपकमिंग इलेक्ट्रिक व्हीकल एक मिनी एसयूवी हो सकती है। भारत में ईवी के लिए बहुत सारे सुविधाएं उपलब्ध हैं, जैसे कम जीएसटी, और कुछ राज्य सरकारें रोड टैक्स और रजिस्ट्रेशन चार्ज भी माफ करती हैं। लोकल मैन्युफैक्चरिंग के साथ के हुंडई को इसकी कीमत कम रखने में मदद मिलेगी।