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एयरटेल सीईओ ने दिया अपने ग्राहकों को सुरक्षा संबंधी संदेश : साइबर फ्रॉड से बचने की दी सलाह

इस कठिन दौर में सबको एक दूसरे से जोड़े रखने के लिए कंपनी द्वारा लिए गए कदमों का उल्लेख

लखनऊ  : भारती एयरटेल के भारत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी (सीईओ) गोपाल विट्टल ने अपने ग्राहकों को यह जानकारी दी है की कोरोना महामारी के दौरान लोगों को आपस में जोड़े रखने के उद्देश्य से कंपनी द्वारा अपने स्पेक्ट्रम और नेटवर्क क्षमता में 38000 करोड़ रूपए का निवेश किया गया है। 
 
अपनी दूरसंचार कंपनी के 307.9 मिलियन ग्राहकों को जारी किये पत्र में सीईओ श्री गोपाल विट्टल ने यह जानकारी दी है किस तरह कंपनी अपने ग्राहकों को उनके सिम कार्ड्स की घर पहुंच सेवा दे रही है।  इसके साथ ही श्री विट्टल ने साइबर फ्रॉड के प्रति लोगो को सतर्क रहने का अनुरोध किया।  
“हमने बहुमूल्य स्पेक्ट्रम खरीदने में 18,000 करोड़ रूपए का व्यय किया है जिससे आने वाले महीनों में घर के अंदर मिलने वाले कवरेज में बड़ा सुधार देखने को मिलेगा। हमने 20,000 करोड़ रूपए का अतिरिक्त निवेश हमारी क्षमता बढ़ाने के लिए किया है जिससे की आपका इंटरनेट उपभोग बढ़ने के बावजूद आपका अनुभव और सुचारु हो सके।” श्री विट्टल ने बुधवार को जारी खत में लिखा।  
भारत की सबसे बड़ी दूरसंचार कंपनियों में शामिल – भारती एयरटेल का यह पत्र जारी हुआ है जब भारत में कोविड के एक दिन के 3.6 लाख केसेस दर्ज हुए हैं।
 
श्री विट्टल ने कहा की कंपनी के इन निवेशों से ग्राहकों के लिए इंटरनेट डाटा और सुचारु रूप से उपलब्ध होने की उम्मीद है, ख़ास तौर पर इस वक़्त जब कोरोनावायरस महामारी के कारण लोगों की डाटा पर निर्भरता बढ़ गयी है। पिछले साल, जब से देश की अधिकतर कंपनियों ने कोरोनावायरस महामारी के चलते वर्क फ्रॉम होम घोषित किया, तब दूरसंचार कंपनियों इंटरनेट डाटा की खपत में 33 प्रतिशत की वृद्धि देखी गयी जिसके चलते दूरसंचार कंपनियों को अपने विस्तार में अधिक से अधिक निवेश करने की आवश्यकता महसूस हुई, साथ ही घर-घर फाइबर के माध्यम से इंटरनेट पहुँचाना भी ज़रूरी हुआ। 
इस साल, पिछले कुछ महीनों में मोबाइल डाटा की मांग में 10 से 15 प्रतिशत की, वहीं स्थायी ब्राडबैंड नेटवर्क की मांग में 50 से 60 प्रतिशत की वृद्धि देखी गयी है। टॉवर लगाने वाली कंपनियों और दूरसंचार कंपनियों ने अपने इंफ्रास्ट्रक्चर में भी इज़ाफ़ा किया है। टॉवर एंड इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोवाइडर्स संगठन के अनुसार, फरवरी 2020 से अप्रैल 2021 के बीच दूरसंचार कंपनियों और उनके इंफ्रास्ट्रक्चर पार्टनरों ने 69448 नए टावर लगाए है। 
 
अपनी प्रतिस्पर्धी दूरसंचार कंपनियों रिलायंस जिओ और वोडाफोन-आईडिया को मिलाकर, इन तीनो प्रमुख दूरसंचार कंपनियों ने पिछले साल कोविड महामारी फैलने के बाद 9000 करोड़ रूपए अपने इंफ्रास्ट्रक्चर पर लगाए हैं।  
 
*एयरटेल सीईओ गोपाल विट्टल* ने कहा की कंपनी द्वारा नए सिम कार्ड्स लोगों के घर पर पहुँचाए जा रहे हैं और हर तरह का भुगतान ऑनलाइन करने की सुविधा ग्राहकों को दी जा रही है।  बढ़ते कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए भारत के कई हिस्सों में लॉकडाउन लगाया जा रहा है, जिसके बीच दूरसंचार की सुविधा को मूलभूत आवश्यकता की श्रेणी में रखा गया है। वहीं लोगों द्वारा किये जा रहे ऑनलाइन भुगतान के चलते धोखाधड़ी के भी कई प्रकरण सामने आ रहे हैं, जिनसे लोगों को सतर्क रहना ज़रूरी है।  “साइबर धोखाधड़ी के प्रकरणों में काफी बढ़ोतरी हुई है, और हमेशा की तरह अपराधी नए नए तरीकों से लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं जिससे सावधानी बरतना और भी ज़रूरी हो गया है।” श्री विट्टल ने अपने पत्र में लिखा।

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