भोपाल। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) की मप्र इकाई की तरफ से 2500 नर्सों की भर्ती की जा रही है। इन्हें नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई, शिशु वार्ड और अन्य जगह पर पदस्थ किया जाएगा। दो महीने के भीतर इनकी नियुक्ति होने की संभावना है। एनएचएम के संचालक डॉ. पंकज शुक्ला ने बताया कि कोविड में काम कर चुकी नर्सों को 10 फीसद अतिरिक्त अंक दिए जाएंगे।
इनकी नियुक्ति से बड़ा फायदा मरीजों को होगा। अस्पतालों में बिस्तर बढ़ाना आसान हो जाएगा। इसके अलावा वार्ड में भर्ती मरीजों को भी सुविधा हो जाएगी। अभी एक वार्ड में कई जगह सिर्फ एक नर्स ही रहती हैं, जबकि 30 बिस्तर वाले वार्ड में कम से कम तीन नर्स होनी चाहिए।
नर्सों की भर्ती से यह होगा फायदा
— कोरोना की संभावित तीसरी लहर में मरीजों के इलाज के लिए विभिन्न श्रेणी के बिस्तर बढ़ाने में मदद मिलेगी।
— इनमें कुछ नर्सों को विशेष ट्रेनिंग देकर आकस्मिक चिकित्सा इकाई, ट्रामा यूनिट, शिशु गहन चिकित्सा इकाई में पदस्थ किया जा सकेगा।
— शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में भी इनकी पदस्थापना की जा सकेगी।
संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ द्वारा अतिरिक्त अंक देने की की जा रही थी मांग
कोरोना संक्रमण के दौरान विभिन्न पदों पर ड्यूटी करने वाले कर्मचारियों को स्वास्थ्य विभाग में नीतियों के दौरान अतिरिक्त अंक देने की मांग एनएचएम संविदा कर्मचारी संघ द्वारा की जा रही थी। हाल ही में हुए आंदोलन के दौरान भी संघ ने इस मांग को को प्रमुखता से उठाया था। यही वजह है कि भर्ती में उन्हें अतिरिक्त अंक दिए जा रहे हैं।
एएनएम के पदों पर भी की जा रही है भर्ती
डॉक्टर शुक्ला ने बताया कि एएनएम के पदों पर भी भर्ती शुरू की गई है। इनकी पदस्थापना होने के बाद ग्रामीण क्षेत्रों में इलाज में आसानी हो जाएगी। इन्हें नवीन उप स्वास्थ्य केंद्रों में पदस्थ किया जाएगा। इसी टीकाकरण का काम और बेहतर हो सकेगा। भविष्य में नए उप स्वास्थ्य केंद्र खोलने में भी कोई दिक्कत नहीं आएगी।