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सचिव:जिले के चार विधायकों में से दानिश अबरार की लग सकती है लॉटरी, संसदीय सचिव बनाए जाने की जताई जा रही हैं संभावना

सूबे में सियासी हलचल तेज हो गई हैं। मंत्रिमंडल के विस्तार के बीच जिले के कोटे को पूरा करने के कयास भी लगाए जा रहे हैं। इसी के चलते सवाई माधोपुर विधायक दानिश अबरार को संसदीय सचिव पद मिलने की संभावना जताई जा रही हैं।

सवाई माधोपुर जिले में फिलहाल चार विधानसभा सीटें हैं। इन सभी सीटों में से तीन सीटों पर कांग्रेस व एक सीट पर गंगापुर सिटी से निर्दलीय विधायक रामकेश मीणा विधायक हैं जो अशोक गहलोत समर्थक हैं। जबकि अन्य तीन सीट पर कांग्रेस का ही कब्जा हैं। इनमें सवाई माधोपुर से दानिश अबरार, खंडार से पूर्व मंत्री अशोक बैरवा व बामनवास से इंद्रिरा मीणा विधायक हैं। इस लिहाज से फिलहाल चारों सीटें कांग्रेस के पास है। विधानसभा चुनाव में जनता ने कांग्रेस पर भरोसा जताया था।

इस कारण जनता को साधने के लिहाज से जिले के कोटे से सवाई माधोपुर को एक मंत्री मिलने की संभावना प्रबल है। दानिश अबरार पहले सचिन पायलट के गुट के समझे जाते थे, लेकिन सरकार पर आए सियासी संकट के दौरान वह गहलोत के गुट में पहुंच गए थे। दानिश अबरार व प्रशान्त बैरवा ही थे। जिन्होंने गहलोत को इस बारे में बताया की सरकार पर संकट आ सकता हैं। जिसके बाद मुख्यमंत्री एक्टिव हुए और सरकार को कोई खतरा नहीं हुआ। इस लिहाज से भी दानिश अबरार को इनाम मिल सकता हैं।

दिग्गज नेता डॉ अबरार अहमद के पुत्र हैं दानिश अबरार

दानिश अबरार पहली बार विधायक बने हैं। वह दिग्गज कांग्रेसी नेता पूर्व वित्त राज मंत्री व कार्यवाहक प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ. अबरार अहमद के पुत्र हैं। इनकी मां यास्मीन अबरार भी सवाई माधोपुर से विधायक रह चुकी हैं और राष्ट्रीय महिला अयोग की सदस्य रह चुकी हैं। अल्पसंख्यक कोटे को साधने के हिसाब से भी विधायक दानिश अबरार फिट बैठते हैं। इस लिहाज से दानिश अबरार को मंत्रिपरिषद में जगह मिलने प्रबल संभावनाएं बताई जा रही हैं। विधायक अबरार के समर्थकों की माने तो उन्हें संसदीय सचिव के पद से नवाजा जा सकता हैं।

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