BWF Ranking: भारत के एचएच प्रणय बने शीर्ष बैडमिंटन खिलाड़ी, बोले- लगातार अच्छा प्रदर्शन करने की कोशिश
भारत के बैडमिंटन स्टार एचएस प्रणय शानदार फॉर्म में हैं। हाल ही में उन्होंने कई बड़े खिलाड़ियों को हराया है। उन्हें बैडमिंटन रैंकिंग में भी इसका फायदा मिला है और अब प्रणय बीडब्लूएफ वर्ल्ड टूर रैंकिंग में दुनिया के शीर्ष बैडमिंटन खिलाड़ी बन चुके हैं। मौजूदा विश्व चैंपियन विक्टर एक्सेलसन दूसरे स्थान पर मौजूद हैं। अपने बेहतरीन फॉर्म के साथ प्रणय ने इस सर्किट में सबको प्रभावित किया है। हाल के महीनों में उन्होंने केंटो मोमोटा, चाउ टीएन चेन, और लोह कीन यू जैसे टॉप -10 खिलाड़ियों को आसानी से हराया है। थॉमस कप में भी उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया है।
हालांकि, शानदार प्रदर्शन के बावजूद प्रणय इस साल कोई खिताब नहीं जीत पाए हैं। वह 58090 पॉइंट लेकर टॉप पर पहुंच गए हैं। बता दें कि बीडब्लूएफ वर्ल्ड टूर रैंकिंग टॉप आठ खिलाड़ियों को तय करने के लिए की जाती है, जो साल के अंत में बीडब्लूएफ वर्ल्ड टूर फाइनल में भाग लेंगे। इस बार यह फाइनल 14 से 18 दिसंबर 2022 तक चीन के ग्वांगझू में आयोजित होगा
खुद प्रणय अपने टॉप पर आने से काफी खुश हुए और उन्होंने ट्वीट कर कहा कि एक्सेलसन के दोबारा टॉप पर आने से पहले उन्हें एक ‘स्क्रीनशॉट’ लेना चाहिए।
नंबर एक खिलाड़ी बनने के बाद प्रणय ने कहा “सितंबर में बीडब्ल्यूएफ टूर पर नंबर एक होने के नाते आप निश्चित रूप से बेहतर महसूस करते हैं। हां, यह निश्चित रूप से विश्व नंबर एक रैंकिंग नहीं है। 2019 की रैंकिंग गिनती में आने के बाद जल्द ही बहुत सी चीजें बदलने वाली हैं। अगले कुछ महीने उतने ही महत्वपूर्ण हैं, क्योंकि ये चीजें ऊपर और नीचे जा सकती हैं। मैं ज्यादातर प्रतियोगिताओं में लगातार क्वार्टर फाइनल में पहुंच रहा हूं, यह दर्शाता है कि मैं वास्तव में अच्छा खेल रहा हूं। यह केवल समय की बात है जब मैं फाइनल भी जीतूंगा। हां, इस साल की शुरुआत में थॉमस कप जीतना मेरे लिए ही नहीं बल्कि भारतीय बैडमिंटन के लिए भी निर्णायक क्षण है। उस जीत ने मेरे सभी साथियों को भी इतना आत्मविश्वास दिया।”
यह पूछे जाने पर कि क्या वह शीर्ष क्रम के खिलाड़ियों को हराकर मैच हारने का कोई आलोचनात्मक विश्लेषण कर रहे हैं, प्रणय ने कहा कि किसी को यह समझना होगा कि अगर आप किसी से क्वार्टर फाइनल में हार जाते हैं तो उसे समान सम्मान दिया जाना चाहिए। “वे किसी भी वॉक-ओवर के आधार पर उस मुकाम तक नहीं पहुंचे हैं। वे वहां इसलिए है क्योंकि उन्होंने कुछ बड़े खिलाड़ियों को हराया था। यह बहुत आसान है। हर शीर्ष खिलाड़ी किसी न किसी से हार रहा है। रैंकिंग मायने नहीं रखती। कुछ खास दिनों में आपको मैच जीतने के लिए इस तरह के प्रयास करने पड़ते हैं।”
उन्होंने आगे कहा “ईमानदारी से कहूं तो मैं किसी लक्ष्य का पीछा नहीं करता। मैं केवल अपने शरीर की देखभाल करना चाहता हूं, टूर्नामेंट के दौरान चोट से बचना चाहता हूं। उम्मीद है कि साल का अंत निश्चित रूप से अच्छे प्रदर्शन के साथ होगा।