अंशुल जुबली ने यूएफसी के फाइनल में जगह बनाकर रच दिया इतिहास , आखिर क्या है UFC और WWE में अंतर?
भारत में यूएफसी काफी मशहूर होती जा रही है। अल्टीमेट फाइटिंग चैंपियनशिप (Ultimate Fighting Championship) में भारत के फाइटर अंशुल जुबली (Anshul Jubli) ने फाइनल में जगह बना ली है। अंशुल ने संयुक्त अरब अमीरात की राजधानी अबु धाबी में खेले गए सेमीफाइनल मुकाबले में दक्षिण कोरिया के फाइटर को हराकर फाइनल में जगह बना ली है। अंशुल पहले भारतीय है जिन्होंने इस प्रतियोगिता में जीत हासिल की है। अंशुल ने यूएफसी की अंतरराष्ट्रीय मिक्स्ड मार्शल आर्टस प्रतियोगिता की लाइट वेट कैटगरी का सेमीफाइनल मैच जीत लिया है।
एमएमए फाइटिंग करियर में अजेय हैं अंशुल
अंशुल ने एएमए (MMA) मिक्स्ड मार्शल आर्ट के बारे में जानकारी देते हुए टीवी टूडे ग्रुप से बातचीत करते हुए बताया कि एमएमए,यह सभी कॅाम्बैट स्पोर्टस का मिक्स है। गैरतलब है कि अंशु एमएमए फाइटिंग करिय में अजेय है। बता दें कि फाइनल मुकाबला साल 2023 के फरवरी में दक्षिण कोरिया में खेला जाएगा। इस फाइनल मैच में अंशुल, इंडोनेशिया के फाइटर से मुकाबला करेंगे।
अंशुल की ख्वाहिश है कि क्रिकेट के तरह ही भारत में लोग एमएमए फाइट में भी दिलचस्पी लें। यह खेल अमेरिका, रूस और ब्राजील जैसे देशों में काफी प्रसिद्ध है। दरअसल, एएमए में बॅाक्सिंग, रेसलिंग, किक बॅाक्सिंग, कराटे जैसे अन्य कॅाम्बेट स्पोर्ट्स के दाव-पेंच शामिल हैं। इसमें हाथों और दांव और पैरों का भी इस्तेमाल किया जाता है।
जानें क्या है इस खेल के नियम
गौरतलब है कि भारत में यूएफसी अभी ज्यादा लोकप्रिय नहीं है। गौरतलब है कि भारत में डब्लूडब्लूइ (WWE) से ज्यादातर लोग परिचित हैं। हालांकि यह एक मनोरंजन के लिए स्क्रिपटेड इवेंट होती है। लेकिन यूएफसी की फाइट असल में लड़ी जाती है। यूएफसी के नियमों की बात करें तो यह लड़ाई केज में लड़ी जाती है। यह ऑक्टागन शेप की रिंग (केज) होती है।
यूएफसी एमएमए फाइट में आमतौर पर पांच-पांच मिनट के तीन राउंड होते हैं। हालांकि वर्ल्ड चैम्पियनशिप में पांच-पांच मिनट के पांच राउंड खेले जाते हैं। इस खेल में रेफरी के अलावा तीन जज भी होते हैं, जो खेल के दौरान खिलाड़ियों पर नजर रखते हैं और प्वाइंट देते हैं।