परिवहन विभाग के प्रमोटेड सिपािहयों को ट्रेनिंग बाद मिलेगी चेकिंग की जिम्मेदारी
हल्द्वानी: परिवहन विभाग के सिपाहियों का प्रमोशन होने के बाद भी उन्हें चेकिंग का जिम्मा नहीं मिला था। जबकि सिपाहियों के लिए वरिष्ठ प्रर्वतन पर्यवेक्षक का पद सृजित ही सड़क पर वाहनों को चेक करने के लिए किया गया था। जिसके बाद पहाड़ की अलग-अलग तहसीलों में नियुक्ति को लेकर आदेश भी हुए। लेकिन चेकिंग पावर नहीं होने की वजह से मामला अटक गया।
अब इन पदोन्नत कर्मचारियों को दून में 15 दिन की ट्रेनिंग दी जा रही है। प्रथम चरण में 28 लोगों को शामिल किया गया है। संभावना है कि अन्य प्रक्रिया पूरी होने में दो माह का समय और लगेगा। जिसके बाद प्रवर्तन पर्यवेक्षक चालान काटते दिखेंगे
परिवहन विभाग के सिपाहियों को पहले प्रमोशन नहीं मिलता था। सेवाकाल पूरा होने पर वह इसी पद से रिटायर हो जाते थे। जिसके बाद प्रवर्तन सिपाही कर्मचारी संगठन के बैनर तले कर्मचारियों ने लंबा संघर्ष किया। जिसके बाद विभागीय ढांचे में बदलाव कर वरिष्ठ प्रवर्तन पर्यवेक्षक का पद बनाया गया।
तय किया गया कि पर्वतीय क्षेत्र की दुर्गम तहसील में नियुक्ति मिलेगी। ताकि वाहनों की चेकिंग कर सड़क हादसों का ग्राफ कम किया जा सके। कुमाऊं में डीडीहाट, मुनस्यारी, धारचूला, कौसानी, द्वाराहाट, सोमेश्वर, जागेश्वर, पाटी, चम्पावत, सल्ट, बेतालघाट व धारी में इन्हें तैनात किया जाना था। लेकिन मामला अटकता चला गया। अब दून में आयोजित प्रशिक्षण शिविर से जल्द तैनाती को लेकर उम्मीद जगी है।
इन्हें सड़क सुरक्षा के सभी नियम, चालान व ई-चालान, मोटर व्हीकल एक्ट समेत तमाम जानकारी दी जाएंगी। प्रवर्तन सिपाही कर्मचारी संगठन के प्रदेश महासचिव महेंद्र बोरा ने बताया कि 15 नवंबर से ट्रेनिंग शुरू हो चुकी है