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सरकार की न नीयत साफ और न विकास का इरादा: यशपाल आर्या

हल्द्वानी। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि सरकार के शब्दकोष में विकास नाम की कोई चीज नहीं है और न ही सरकार की नीयत साफ है। 23 दिन से हैड़ाखान मार्ग बंद है। 120 गांवों की आबादी मूलभूत सुविधाएं जुटाने के लिए जद्दोजहद कर रही है। जान हथेली पर रखकर आवाजाही की जा रही है। इसके बावजूद इस मार्ग का स्थायी समाधान नहीं निकाला जा सका।नेता प्रतिपक्ष आर्य सरकार की कार्यप्रणाली के विरोध में मंगलवार को एक घंटे तक काठगोदाम-हैड़ाखान मार्ग के क्षतिग्रस्त हिस्से के पास उपवास पर बैठे। इस दौरान वहां से गुजर रही बरात ने भी पैदल रास्ता तय किया और दूल्हे ने प्रदर्शन में शामिल होकर कांग्रेसियों का समर्थन किया। सुबह दस बजे कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ नेता प्रतिपक्ष उपवास स्थल पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि यह मार्ग पिछले 23 दिन से बंद है। इससे 120 गांवों के 50 हजार से भी ज्यादा लोग प्रभावित हो रहे हैं। उन्हें तमाम परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। ये वे लोग हैं जिन्हें हर रोज किसी न किसी काम के लिए हल्द्वानी आना पड़ता है। शादी बरातों के लिए भी लोगों की आवाजाही प्रभावित हो रही है। भाजपा सरकार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि डबल इंजन की सरकार कुछ भी कर सकती है, वह चाहे तो इस मार्ग को बनवा सकती है लेकिन सरकार को लोगों को परेशानियां शायद नजर नहीं आ रही हैं। कहा कि हैड़ाखान मार्ग का निर्माण कांग्रेस कार्यकाल में हुआ था। उसके बाद से आजतक सरकार ने न तो बजट पास कर इसका जीर्णोद्धार कराया और न ही 23 दिन से इस मार्ग को खोलकर सुचारू करने की तरफ ध्यान दिया। 120 गांवों के सामने स्वास्थ्य एवं खाद्यान्न का संकट खड़ा हो गया है। गांवों से मंडी तक जाने वाली सब्जियां और फल सड़ रहे हैं। सरकार वैकल्पिक मार्ग बनाने में भी नाकाम रही है। यह सांकेतिक उपवास के रूप में धरना प्रदर्शन है। अगर सरकार नही चेती तो आगे भी लोगों की भलाई के लिए कांग्रेस ग्रामीणों के कंधे से कंधा मिलाते हुए उनके साथ खड़ी रहेगी। जरूरत पड़ी तो उग्र आंदोलन के लिए भी मजबूर होगी।
कांग्रेस प्रदेश महासचिव महेश शर्मा, कार्यकारी जिलाध्यक्ष राहुल छिम्वाल, पूर्व विधायक दान सिंह भंडारी, सतीश नैनवाल, ब्लाक प्रमुख हरीश बिष्ट, संजय साह, केदार पलड़िया, भीमताल चेयरमैन देवेंद्र चनौतिया, खष्टी बिष्ट, केडी रूबाली, मनोज बिष्ट, नवीन पलड़िया, ललित, संदीप राणा, महेश भंडारी प्रधान, कुंदन सिंह समेत बड़ी संख्या में ग्रामीण प्रदर्शन में शामिल हुए। बरात ले जा रहा दूल्हा भी प्रदर्शन में हुआ शामिल
नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्या व अन्य कांग्रेसी नेता जब उपवास पर बैठे थे। उसी समय हैड़ाखान मार्ग से होते हुए कोटाबाग से पसौली गांव जा रही बरात की बस और दूल्हे की गाड़ी भी फंस गई। खस्ताहाल रास्ते को देखते हुए दूल्हे राहुल बिष्ट ने पैदल ही पसौली गांव तक बरात ले जाने का फैसला किया। राहुल जैसे ही गाड़ी से उतरे तो वहां नेता प्रतिपक्ष का धरना प्रदर्शन देखकर रुक गए। राहुल ने भी नेता प्रतिपक्ष के साथ कुछ समय के लिए शामिल होकर उपवास प्रदर्शन का समर्थन किया। इसके बाद क्षतिग्रस्त दुर्गम मार्ग से खतरा उठाते हुए पैदल ही बरात लेकर पसौली गांव के लिए निकल पड़े

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