यमकेश्वर ब्लॉक के 18 गांव के लोग प्राकृतिक स्रोत से ढो रहे हैं पानी
यमकेश्वर ब्लॉक के 18 गांवों को पेयजल आपूर्ति करने वाली हिंवल नदी पंपिंग पेयजल योजना का पाइप फटने से गांवों में चार दिनों से ठप पड़ी है। ऐसे में कड़ाके की ठंड में भी सैकड़ों पेयजल उपभोक्ता कई किमी. दूर प्राकृतिक स्रोत से पानी ढोकर लाने के लिए मजबूर हैं। शिकायत के बाद भी जलसंस्थान लोगों की समस्या का समाधान नहीं कर रहा है।
हिंवल नदी पंपिंग पेयजल योजना से यमकेश्वर ब्लॉक के परिंदा, डांगी, पठोला, रिखेड़ा, बनचूरी, खोबरा, चोपड़ा, थनूर, भृगुखाल, बिनक आदि गांवों में पेयजल आपूर्ति की जाती है। पिछले रविवार को पेयजल योजना का मुख्य पाइप फट जाने के कारण उक्त सभी गांवों में पेयजल आपूर्ति ठप हो गई। विभाग की ओर से ग्रामीणों के लिए पेयजल की अतिरिक्त व्यवस्था नहीं की गई है जिसके कारण लोगों में विभाग के खिलाफ आक्रोश है।
पूर्व ग्राम प्रधान सरिता देवी लखेड़ा, कमला देवी द्विवेदी, दीपक कुमार, राकेंद्र सिंह ने जलसंस्थान पर क्षेत्र की जनता को परेशान करने का आरोप लगाया। कहा कि चार दिनों से पेयजल आपूर्ति ठप है। जलसंस्थान से लगातार पानी उपलब्ध कराने की मांग कर रहे हैं लेकिन विभाग न तो पेयजल लाइन ठीक कर रहा है और न ही पानी की वैकल्पिक व्यवस्था कर रहा है। ऐसे में उन्हें प्राकृतिक स्रोत से सिर पर पानी ढोना पड़ रहा है।
हिंवल नदी पेयजल योजना का मेन पाइप फटने के कारण जलापूर्ति बंद है। शीघ्र पाइप बदलकर क्षेत्र में पेयजल आपूर्ति सुचारु कर दी जाएगी