भाजपा अध्यक्ष ने फिर उठाई वामपंथियों पर अंगुली, कहा- दिल्ली और मुंबई से माहौल बिगाड़ने आ रहे
देहरादून: चमोली जिले में जोशीमठ आपदा को लेकर अब स्थानीय स्तर पर तेज हो रही वामपंथी गतिविधियां सरकार व खुफिया एजेंसियों की चिंता का सबब बन रही हैं।
राज्य के बाहर, यानी दिल्ली और मुंबई समेत अन्य स्थानों से वामपंथी संगठनों से जुड़े लोग जोशीमठ पहुंच रहे हैं। इससे सामरिक दृष्टि से बेहद अहम इस सीमांत क्षेत्र में अस्थिरता का माहौल बनने का अंदेशा सुरक्षा एजेंसियों को सता रहा है। पुलिस व खुफिया एजेंसियां इन पर नजर रखे हुए है।
जोशीमठ में आपदा आने के बाद से ही यहां स्थानीय लोग मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। इन्हें समर्थन देने के नाम पर अब राज्य के बाहर से भी लोग आने शुरू हो गए हैं।
इस पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने चिंता जताई है। उन्होंने कहा कि एक ओर चीन, भारत के आखिरी गांव तक अपनी ढांचागत सुविधा को मजबूत कर रहा है और उसने आसपास पावर स्टेशन व सड़कें बनाई हैं। इसी दिशा में भारत सरकार भी कदम बढ़ा रही है।
उत्तराखंड के इस क्षेत्र की सामरिक लिहाज से अहम भूमिका है। भट्ट के अनुसार जोशीमठ प्रकरण में जिस तरह से वामपंथी नकारात्मक वातावरण तैयार कर रहे हैं, उसे राष्ट्र विरोधी की श्रेणी में रखा जा सकता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार आपदा प्रभावितों के पुनर्वास को हर संभव कदम उठा रही है।
इस समय प्राथमिकता स्थानीय निवासियों के व्यवसाय व रोजगार को बचाने के लिए पर्यटन गतिविधियां, शीतकालीन पर्यटन और आगामी चारधाम यात्रा को सुचारू रखना है। केंद्रीय एजेंसियां रिपोर्ट तैयार कर रही हैं। प्रधानमंत्री स्वयं राहत कार्यों की निगरानी कर रहे हैं।
पुनर्वास नीति व अन्य राहत कार्यों को बाधित करना मकसद
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भट्ट ने कहा कि उन्होंने किसी भी स्थानीय निवासी को आंदोलन से नहीं रोका है। वह तो स्थानीय निवासियों को वामपंथी विचारधारा वाले संगठनों से सचेत करना चाहते हैं, जिनकी रुचि राहत और पीड़ितों में कम और अपने एजेंडे को साधने में अधिक है। ये लोग दिल्ली, मुंबई और जेएनयू दिल्ली से आ रहे हैं।
इनका एकमात्र लक्ष्य आंदोलन के माध्यम से आपदा एवं पुनर्वास नीति व अन्य राहत कार्यों को बाधित करना है। तमाम ताकतें नहीं चाहतीं कि सीमावर्ती क्षेत्रों में विकास के कार्य हों और देश की सामरिक ताकत मजबूत हो। चीन संघर्ष के दौरान के ऐसे लोगों के कारनामे आमजन को पता हैं, ऐसे में देवभूमि की राष्ट्रवादी जनता इनके बहकावे में नहीं आएगी।