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कोलीढेक झील में गेटों की मरम्मत का कार्य हुआ पूरा

लोहाघाट (चंपावत)। जिले में प्रमुख पर्यटक स्थल के रूप में विकसित लोहाघाट की कोलीढेक झील में जल्द ही फिर से नौकायन शुरू हो जाएगा। कार्यदायी संस्था की ओर से झील में मरम्मत का कार्य पूरा करने के साथ खतरा बने पेड़ों का निस्तारण कर दिया है। करीब 40 दिन से बंद झील फिर गुलजार हो जाएगी।

14 जुलाई से झील के गेटों की मरम्मत, यहां जमा सिल्ट हटाने और खतरा बने पेड़ों के निस्तारण के लिए झील को खाली कर दिया था। सभी काम पूरा होने के बाद विभाग ने झील में पानी भरने का कार्य शुरू कर दिया है। करीब 33 करोड़ रुपये लागत से बनी झील का निर्माण कार्य नवंबर 2018 में शुरू होकर दिसंबर 2022 में पूरा हो गया था। 1500 मीटर लंबी, 80 मीटर चौड़ी और 21 मीटर गहरी झील का शुभारंभ करीब छह माह पूर्व सूबे के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने वर्चुअल किया था। उसके बाद यहां झील में नावों का संचालन शुरू हो गया।

45 युवा झील में नाव का संचालन कर जुड़े हैं स्वरोजगार से
लोहाघाट (चंपावत)। कोलीढेक झील के शुभारंभ के बाद यहां रोजगार के कई अवसर पैदा हुए हैं। क्षेत्र के 45 युवाओं ने झील में नाव संचालन के लिए परमिट बनाए हैं। करीब एक लाख रुपये लागत की पैडल वोट और 70 हजार रुपये लागत की जार्बिंग बॉल झील में उतारी गई हैं।
रुड़की से आए तकनीकी दल ने झील की मरम्मत का कार्य पूरा कर इसमें पानी भरने का कार्य शुरू कर दिया है। निर्धारित क्षमता के अनुसार झील में 45 लोगों को 60 नावों के संचालन के लिए परमिट जारी किए हैं। झील भरने के बाद नौकायन शुरू कर दिया जाएगा।

अमित उप्रेती, कनिष्ठ अभियंता, सिंचाई खंड, लोहाघाट।

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