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उत्तराखंड में है कश्मीर का पारंपरिक खेल स्कॉय की संभावनाएं : विकास

रुद्रपुर। स्कॉय एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड के अध्यक्ष विकास शर्मा ने कहा कि कश्मीर के पारंपरिक खेल स्कॉय को लेकर तमाम संभावनाएं दिख रही हैं। इस खेल को प्रदेश के हर जिले के स्कूल, कॉलेज तक पहुंचाया जाएगा। इसके लिए जिलों में कमेटियों का गठन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह खेल आत्मरक्षा के परिपेक्ष्य में भी उपयोगी है। इस खेल का प्रशिक्षण लेकर प्रदेश के खिलाड़ी राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदकवीर भी बनेंगे। कश्मीर से आए स्कॉय खेल के ग्रैंड मास्टर मीर नजीर अहमद ने बताया कि स्कॉय खेल कश्मीर का पारंपरिक खेल है। पूर्व में कश्मीर के राजा महाराजा की ओर से स्कॉय खेल को आत्मरक्षा की विद्या के रूप में प्रशिक्षण दिया जाता था और यह खेल सैनिकों के लिए अनिवार्य था। पूर्व में गोवा में हुए 37वें राष्ट्रीय खेलों में स्कॉय खेल को शामिल किया गया है। एसोसिएशन के महासचिव हसन खान ने बताया कि स्कॉय खेल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत के साथ 68 देशों में खेला जा रहा है। भारत के 27 राज्यों में यह खेल खेला जा रहा है। उन्होंने उम्मीद जताई कि स्कॉय खेल उत्तराखंड में बहुत लोकप्रिय होगा। वहां पर एसोसिएशन सचिव सुंदर सिंह, सौरभ गौड़, सौरभ सनवाल, दीपक पांडे, रोहित मखोलिया, मोना कश्यप, सुनीता जोशी, आरुषि कुश्वाहा, राधव, गरिमा, पूजा आदि मौजूद रहीं।

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