सिविल जज जूनियर डिविजन/ न्यायिक मजिस्ट्रेट श्रेय गुप्ता की अदालत ने चेक बाउंस के अभियुक्त को दोष सिद्ध पाते हुए नौ माह के कठिन कारावास की सजा सुनाई है। अभियुक्त पर 7 लाख 28 हजार का अर्थदंड भी लगाया गया है। जिसमें से 7 लाख 23 हजार परिवादनी को प्रतिकर के रूप में देय होेंगे। जबकि पांच हजार का जुर्माना राजकोष में जमा करना होगा। जुर्माना जमा न करने पर 15 दिन का अतिरिक्त साधारण कारावास भुगतना होगा।
भट्टोवाला रोड गुमानीवाला निवासी कृष्णा देवी ने 21 अप्रैल 2014 को न्यायालय में वाद दायर किया था। कृष्णा देवी ने बताया था कि अभियुक्त ओम प्रकाश भट्ट उनका परिचित था। 25 नवंबर 2013 को ओमप्रकाश ने अपने व्यवसाय के लिए उससे चार लाख उधार मांगे थे और दो माह के भीतर वापस किए जाने की बात कही थी। कृष्णा देवी ने बताया किया ओम प्रकाश ने उसी दिन मुझे जिला सहकारी बैंक मुनि की रेती के एक-एक लाख धनराशि के चार चेक दिए थे। और कहा था कि नियत तिथि पर उक्त चेक बैंक में लगाकर अपनी धनराशि ले लेना। कृष्णा ने बताया कि 20 मार्च 2014 को उसने वह सभी चेक एसबीआई की रेलवे रोड शाखा में प्रस्तुत किए। लेकिन बैंक ने अपर्याप्त धनराशि कह कर चेक वापस लौटा दिए। जिस संबंध में ओमप्रकाश को नोटिस भी भेजा गया। लेकिन ओमप्रकाश ने उक्त धनराशि वापस नहीं की। जिस पर उसे मजबूरन न्यायालय में वाद दायर करना पड़ा। सिविल जज जूनियर डिविजन/ न्यायिक मजिस्ट्रेट श्रेय गुप्ता ने बृहस्पतिवार को मामले में फैसला सुनाया। अभियुक्त ओमप्रकाश को दोष सिद्ध पाते हुए 9 माह के कठिन कारावास की सजा सुनाई गई।