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वनाग्नि की घटनाओं को रोके वनाधिकारी : वन मंत्री

रामनगर/कालाढूंगी। प्रदेश में बढ़ती वनाग्नि की घटनाओं पर रोक लगाया जाए। वनाग्नि के बाद आग के कारणों की समीक्षा की जाए। इसके अलावा अवैध खनन, अवैध पातन की घटना पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए, ताकि इन घटनाओं पर रोक लग सके। रामनगर में हुई वनाधिकारियों की समीक्षा बैठक में प्रदेश के वन मंत्री सुबोध उनियाल ने अधिकारियों को यह निर्देश दिए। रामनगर के गर्जिया रेस्ट हाउस में वन मंत्री सुबोध उनियाल ने कहा कि वनाग्नि की घटनाओं को रोकने के लिए जनता का सहयोग लें। जंगलों में जल संग्रह केंद्र बनाए, ताकि आग लगने पर इन संग्रह केंद्रों से पानी लेकर आग को बुझाया जा सके। ग्रामीणों को पीरूल के जरिए आजीविका से जोड़ा जाए। समीक्षा बैठक में धनजंय मोहन, डॉ. समीर सिन्हा, कुमांऊ के मुख्य वन संरक्षक पीके पात्रों, मुख्य वन संरक्षक वनाग्नि निशांत वर्मा, वन संरक्षक डॉ. विनय भार्गव, सीटीआर निदेशक डॉ. धीरज पांडेय, बीजू लाल, काेको रोसे, कालाढूंगी विधायक बंशीधर भगत और रामनगर विधायक दीवान सिंह बिष्ट मौजूद रहे। वहीं कालाढूंगी में वन मंत्री ने विधायक बंशीधर भगत के साथ अधर में लटकी योजनाओं का स्थलीय निरीक्षण किया। मंत्री ने अधिकारियों से तत्काल योजनाओं पर एक्शन लेने को कहा। इसी के साथ उन्होंने अधर में लटके मिनी स्टेडियम का भी निरीक्षण किया। इस दौरान विकास भगत, विक्रम जंतवाल, पुष्कर कत्यूरा,रवि कन्याल, महेश शर्मा, महेंद्र सिंह अधिकारी, दीवान बिष्ट, गोपाल बुढलाकोटी, विनोद बुढलाकोटी, हरीश मेहरा, महमूद हसन बंजारा, कैलाश बुधलाकोटी, राजकुमार पांडे, मोहन पांडे, कविता बलिया शामिल रहे। संवाद

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