टोक्यो ओलंपिक में भारत को पहला मेडल, मीराबाई चानू ने जीता सिल्वर
नई दिल्ली : भारतीय वेटलिफ्टर मीरा बाई चानू ने टोक्यो ओलंपिक में भारत को पहला मेडल दिला दिया है. उन्होंने शनिवार को वेटलिफ्टिंग में सिल्वर मेडल अपने नाम किया. महिला वेटलिफ्टर मीराबाई चानू ने 49 किग्रा वर्ग में यह मेडल जीता. यह भारतीय वेटलिफ्टिंग इतिहास में ओलंपिक में भारत का दूसरा पदक है. भारत ने इससे पहले सिडनी ओलंपिक (2000) में वेटलिफ्टिंग में पदक जीता था. यह पदक कर्णम मल्लेश्वरी ने दिलाया था. मीराबाई चानू पहली भारतीय वेटलिफ्टर हैं जिन्होंने ओलंपिक में सिल्वर मेडल जीतने का कारनामा किया है. मीराबाई ने स्नैच में अपने पहले प्रयास में ही 84 किलो और दूसरे में 87 किलो वजन उठाया. हालांकि, तीसरे प्रयास में वो 89 किलो वजन उठाने में नाकाम रहीं. वो स्नैच राउंड में दूसरे स्थान पर रहीं. 94 किलो वजन के साथ चीन की वेटलिफ्टर हाऊ झिहू पहले पायदान पर रहीं. यह ओलंपिक रिकॉर्ड भी है. मीराबाई चानू के मेडल जीतते ही पूरे देश में खुशी की लहर दौड़ गई है. मीराबाई चानू ने अपनी सफलता से पूरे देश का सिर गर्व से ऊंचा कर दिया है. मीराबाई चानू की उपलब्धि पर खुशी जाहिर करते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और पीएम नरेंद्र मोदी ने बधाई दी है. मीराबाई चानू ने बेहद ही शानदार प्रदर्शन किया है. मीराबाई चानू ने स्नैच में 87 किलोग्राम भार उठाया. क्लीन एंड जर्क में मीराबाई चानू में मीराबाई चानू ने 115 किलोग्राम का भार सफलतापूर्वक उठाया और वह भारत के लिए मेडल जीतने में कामयाब हुई. ओलंपिक खेलों के लिए टोक्यो रवाना होने से पहले ही मीराबाई चानू ने भारत के लिए मेडल जीतने का दावा किया था. मीराबाई चानू ने देश की झोली में पहला मेडल डाल दिया है. मीराबाई चानू के कोच ने भी दावा किया था कि सिल्वर मेडल पक्का है. क्लीन एंड जर्क के आखिरी प्रयास में 117 किलोग्राम का भार उठाने की कोशिश की थी, लेकिन वो सफल नहीं हो पाई और उन्होंने देश की झोली में सिल्वर मेडल डाला.