दिल्ली में चल रहा है स्टडी कराओ षड्यंत्र, रोके जा रहे हैं काम- सौरभ भारद्वाज का LG पर तंज
नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली में आम आदमी पार्टी के नेता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आम आदमी पार्टी जब पंजाब के अंदर इलेक्शन लड रही थी। ऐसे में लगातार बीजेपी और कांग्रेस इस बात को उठती थी कि केजरीवाल साहब की सरकार का दिल्ली का शिक्षा मॉडल झूठा है। क्योंकि दिल्ली के स्कूलों में प्रिंसिपल नहीं है। जहां बीजेपी के प्रवक्ता हर टीवी डिबेट में आकर कहते रहे कि दिल्ली के स्कूलों में प्रिंसिपल नहीं है। इस झूठ का पर्दाफाश खुद लेफ्टिनेंट गवर्नर साहब ने कर दिया। उन्होंने कहा कि दिल्ली के स्कूलों में 126 प्रिंसिपल की जरूरत है। ये बात तो सभी जानते हैं कि स्कूलों में टीचर्स होते हैं और एक प्रिंसिपल होते हैं लेकिन ये बात एलजी साहब को समझाने में 8 साल लग गए। दरअसल भारद्वाज ने यह भी कहा कि 2015 में जब ये सरकार चुन कर आई। सरकार ने काम करना शुरू किया तो सबसे पहले जो प्राथमिकता निकाली उसमें से एक यही थी कि सरकारी स्कूलों में प्रिंसिपलों का अभाव था। उस समय 58 प्रिंसिपल लगाए गए। तब सर्विसेज दिल्ली की चुनी हुई सरकार के पास होता था। साथ ही 370 पोस्ट के लिए यूपीएससी जोकि केंद्र सरकार की संस्था है। उसके पास भेजा गया लेकिन उसके बाद सर्विसेज को हथिया लिया गया। यूपीएससी ने भर्ती से संबंधित सवाल किए। वहीं सौरभ भारद्वाज ने कहा कि भर्ती की फाइल मंत्रियों को नहीं दिखाई जाती। जहां सारा काम दिल्ली के उप राज्यपाल देखा करते थे। दिल्ली के मुख्यमंत्री और सरकार को बाईपास किया जाता था। हालांकिपिछले 8 सालों में कई बार सवाल लगाए गए एक बार तो हमारे एक साथी विधायक ने सवाल लगाया था कि उनकी विधानसभा में कितने शिक्षक और प्रिंसिपल हैं? कितनों की जरुरत है और कितने लगाए गए तो एजुकेशन डिपार्टमेंट ने जवाब दिया था कि एलजी के आदेश से ये जानकारी आपको विधानसभा में नहीं दी जा सकती। क्योंकि ये विषय एलजी और केंद्र सरकार के अधीन आता है चुने हुए विधायकों को ये नहीं बताया जाएगा सोचिए ये कितनी शर्म की बात है। आप प्रवक्ता ने कहा कि अब मैं ये जानना चाहता हूं कि 370 प्रिंसिपलों की भर्ती की जरूरत थी आपने 126 प्रिंसिपल के लिए आपने कह दिया कि दें देंगे। 244 स्कूलों का क्या होगा ? एलजी साहब बताएं कि 244 स्कूलों में प्रिंसिपल चाहिए या नहीं चाहिए। अब इस बात की भी स्टडी होगी ? एलजी ऑफिस में उनका प्रिंसिपल सेक्रेटरी होगा या नहीं होगा उसकी स्टडी एलजी साहब क्यों नहीं करवा लेते? विनय सक्सेना जी के दफ्तर में कितने कर्मचारी थे और कितनों की जरूरत है उसकी स्टडी वो क्यों नहीं करवा लेते ? उसकी भी स्टडी होने चाहिए उनके घर के कितने नौकर गाडियां थी उसकी भी स्टडी होनी चाहिए। भारद्वाज ने कहा कि अपने कामों की स्टडी भी तो करवाओ एलजी साहब सिर्फ दिल्ली के लोगों के कामों की स्टडी करवाओगे? आप काम तो मत रोकिए कम या ज्यादा होंगे बाद में कर लेंगे। स्टडी के नाम पर काम रोका जा रहा है झूठी खबरें चलवाई जा रही है ये एलजी ऑफिस का दुरपयोग है ये रुकना चाहिए।