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भारतीय हॉकी टीम की ओलिंपिक तैयारी:41 साल बाद मेडल का सूखा खत्म करने के लिए तैयार मनप्रीत की टीम, 1980 में मिला था आखिरी गोल्ड

भारतीय पुरुष हॉकी टीम ओलिंपिक में 8 बार गोल्ड मेडल जीत चुकी है। इसके अलावा दो बार ब्रॉन्ज और एक बार सिल्वर मेडल भी जीती है, लेकिन आखिरी कामयाबी 41 साल पहले 1980 में हुए मास्को ओलिंपिक में मिली थी। तब कई बड़ी टीमों की गैरहाजिरी में भारत ने गोल्ड जीता था। उसके बाद से भारत के हाथ हॉकी में कोई मेडल नहीं आया है। हालांकि, इस बार कप्तान मनप्रीत सिंह की अगुवाई में भारत ने पुरजोर तैयारी की है। माना जा रहा है कि इस बार भारतीय टीम के मेडल जीतने की उम्मीद काफी ज्यादा है।

2016 के बाद भारतीय टीम का शानदार प्रदर्शन
रियो ओलिंपिक के बाद भारतीय टीम के प्रदर्शन में लगातार सुधार हो रहा है। टीम ने FIH सीरीज में शानदार खेल दिखाते हुए ओलिंपिक के लिए क्वालिफाई किया। 2016-17 में भारतीय टीम वर्ल्ड लीग की मेडलिस्ट रही। 2017 में भारत ने एशिया कप पर कब्जा जमाया। 2018 चैंपियंस ट्रॉफी और एशियन गेम्स में मेडल जीतने में भी सफलता मिली। टीम ने 2018 में एशियन चैंपियंस ट्रॉफी भी अपने नाम की।

भारत मौजूदा ओलिंपिक चैंपियन अर्जेंटीना के साथ ग्रुप ए में
भारत को इस बार मौजूदा ओलिंपिक चैंपियन अर्जेंटीना के साथ ग्रुप ए में रखा गया है। ग्रुप की अन्य टीमें ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, स्पेन और मेजबान जापान हैं। भारत को 24 जुलाई को न्यूजीलैंड के खिलाफ अपने अभियान की शुरुआत करनी है।

मनप्रीत, हरमनप्रीत और बीरेंद्र के अनुभव से टीम को होगा फायदा
टीम को कप्तान मनप्रीत और उपकप्तान हरमनप्रीत और बीरेंद्र लाकड़ा के अनुभव का फायदा मिलेगा। बीरेंद्र पिछले 9 साल से टीम इंडिया का हिस्सा रहे हैं। वे 2012 ओलिंपिक में टीम में थे। हालांकि, 2016 ओलिंपिक में घुटने में चोट और सर्जरी की वजह से नहीं खेल पाए थे। वापसी के बाद से बीरेंद्र ने टीम की कामयाबी में अहम योगदान दिया है। हरमनप्रीत पर डिफेंडिंग के साथ-साथ ड्रैग फ्लिक की भी जिम्मेदारी भी होगी। वे और रुपिंदर पाल सिंह के रूप में भारत के पास 2 ड्रैग फ्लिकर्स मौजूद हैं।

आखिरी मिनटों में गोल न खाएं, इस पर टीम ने किया है फोकस
टीम मैच के आखिरी समय में गोल न खाए, इसके लिए खास रणनीति पर काम किया गया है। डिफेंस को किस साइड में बॉल रखना है, अपने सर्कल में किस तरह पेनाल्टी से बचा जाए जैसे पहलुओं पर टीम ने काफी मेहनत की है। इसके अलावा मैच के आखिरी समय में यानी आखिरी 5-10 मिनट पहले डिफेंस अपने पास गेंद न रखे और विपक्षी टीम के सर्कल में ले जाए इसको लेकर भी टीम ने काफी अभ्यास किया है।

ओलिंपिक के लिए 16 सदस्यीय टीम इंडिया

  • गोलकीपर: पीआर श्रीजेश
  • डिफेंडर्स: हरमनप्रीत सिंह, रुपिंदर पाल सिंह, सुरेंद्र कुमार, अमित रोहिदास, बीरेंद्र लाकड़ा।
  • मिडफील्डर्स: हार्दिक सिंह, मनप्रीत सिंह, विवेक सागर प्रसाद, निलकांत शर्मा, सुमित।
  • फॉरवर्ड्स: शमशेर सिंह, दिलप्रीत सिंह, गुरजंत सिंह, ललित कुमार उपाध्याय, मंदीप सिंह।
  • स्टैंडबाय: कृष्ण पाठक (गोलकीपर), वरुण कुमार (डिफेंडर), सिमरनजीत सिंह (मिडफील्डर)।

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