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रेलवे के ऑक्सीजन प्लांट शुरू:पश्चिम मध्य रेलवे जबलपुर सहित भोपाल व कोटा के रेलवे अस्पतालों में ऑक्सीजन प्लांट शुरू किए

महाकौशल में पहला ऑक्सीजन प्लांट पश्चिम मध्य रेलवे के केंद्रीय चिकित्सालय जबलपुर में स्थापित हो गया। कोविड की तीसरी लहर की आशंका से पहले रेलवे की ये बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है। जबलपुर में स्थापित ऑक्सीजन प्लांट प्रति मिनट 600 लीटर ऑक्सीन बना सकती है। इसी तरह भोपाल और कोटा में 500-500 लीटर प्रति मिनट ऑक्सीजन उत्पादन का प्लांट स्थापित किए गए हैं।

रेलवे के केंद्रीय चिकित्सालय जबलपुर का ऑक्सीजन प्लांट पूरे महाकौशल क्षेत्र का पहला ऑक्सीजन प्लांट है। यह ऑक्सीजन प्लांट आपातकालीन स्थिति में विशेषकर कोविड-19 संक्रमण के मरीजों को तरल ऑक्सीजन की आपूर्ति करेगा। तीनों ही ऑक्सीजन प्लांट PSA (Pressure Swaing Adsorption) मेडिकल ऑक्सीजन गैस की पद्धति से कार्य करते हैं। इसमें 3 मुख्य यूनिट जैसे रेफ्रिजरेटर एयर ड्राइंग यूनिट, ट्विन टावर और ऑक्सीजन स्टोरेज टैंक होते हैं। प्लांट से सीधे ऑक्सीजन का उपयोग पाइपलाइन द्वारा मरीजों के इलाज में किया जा सकेगा।

रेलवे ने कम समय में प्लांट स्थापित किए

कोरोना की तीसरी लहर कि संभावना को देखते हुए पमरे के तीनों चिकित्सालयों में ऑक्सीजन प्लांट तैयार कर ऑक्सीजन के मामले में आत्मनिर्भर बन चुके है। केन्द्रीय चिकित्सालयों जबलपुर, भोपाल को कोटा में ऑक्सीजन प्लांट का शुभारंभ पमरे महाप्रबंधक शैलेन्द्र कुमार सिंह और पमरे महिला कल्याण संगठन की अध्क्षया अर्चना सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से किया। रेलवे जीएम ने कोविड मरीजों के इलाज और चिकित्सकीय सुविधा उपलब्ध कराने वाले डॉक्टरों व स्टॉफ के समर्पण भाव की सराहना भी की।

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