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दून में 300 करोड़ का घोटाला? होर्डिंग और यूनिपोल मामले में जांच समिति की रिपोर्ट पर कार्रवाई का ब्यौरा तलब

नगर निगम में होर्डिंग और यूनिपोल घोटाले को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए नैनीताल हाई कोर्ट ने जांच समिति की रिपोर्ट पर कार्रवाई का ब्यौरा तलब किया है। कोर्ट ने राज्य सरकार और नगर निगम देहरादून को कार्रवाई का ब्योरा 04 सप्ताह में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इससे पूर्व कोर्ट ने जून 2024 को जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार और नगर निगम को नोटिस जारी करते हुए स्थिति से अवगत कराने को कहा था।

नगर निगम देहरादून के अंतर्गत होर्डिंग और यूनिपोल के टेंडर में अनियमितता के आरोप पर दाखिल जनहित याचिका पर मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति ऋतु बाहरी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ में सुनवाई की गई। जिसमें कोर्ट ने राज्य सरकार और नगर निगम से प्रकरण पर गठित जांच समिति की रिपोर्ट पर की गई कार्रवाई का ब्यौरा पेश करने को कहा है। इसके लिए 04 सप्ताह का समय निर्धारित किया गया है। मामले में सुनवाई की अगली तिथि 03 दिसंबर 2024 को तय की गई है।

यह जनहित याचिका देहरादून निवासी कांग्रेसी नेता अभिनव थापर की ओर से दाखिल की गई है। याचिका में पैरवी करते हुए अधिवक्ता अभिजय नेगी कहा कि देहरादून नगर निगम में पिछले 10 साल में होर्डिंग व यूनिपोल में करीब 300 करोड़ रुपये का घोटाला किया गया है। इस मामले में 11 अगस्त 2023 को सचिव शहरी विकास व मेयर देहरादून के समक्ष प्रत्यावेदन दिया गया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई। कोर्ट को बताया गया कि वर्ष 2019 में नगर निगम की ओर से सर्वे कमेटी बनाई गई थी। कमेटी की रिपोर्ट में 325 अवैध होर्डिंग का उल्लेख पाया गया।

इसके बाद भी इन होर्डिंग के माध्यम से अवैध तरीके से राजस्व वसूली कर रही कंपनियों पर कार्रवाई नहीं की गई। यह भी स्पष्ट नहीं किया गया कि किसकी शह पर अवैध वसूली की गई और किस-किस की जेब में यह पैसा गया। याचिका में अभिनव थापर ने प्रकरण वित्तीय अनियमितता व भ्रष्टाचार की जांच की मांग की। हालांकि, हाई कोर्ट के ताजा आदेश के बाद नगर निगम प्रशासन से लेकर शासन तक में खलबली की स्थिति है।

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