मनोविज्ञान के छात्र को स्वतंत्र रूप से कार्य करना चाहिए: खोखर
गुरुकुल कांगड़ी समविश्वविद्यालय के मनोविज्ञान विभाग में शुक्रवार को ऑनलाइन माध्यम से पूर्व छात्र सम्मेलन आयोजित किया गया। मनोविज्ञान के पूर्व प्रो. सीपी खोखर सम्मेलन में बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए। सम्मेलन के ऑनलाइन कार्यक्रम का संचालन डॉ. अरुण सिंह ने किया।
इस दौरान प्रो. सीपी खोखर ने कहा कि मनोविज्ञान ऐसा विषय है जिसकी हमें दैनिक जीवन में प्रतिदिन आवश्यकता पड़ती है। मनोविज्ञान के कई क्षेत्र हैं और विद्यार्थियों को सरकारी नौकरी की दौड़ से बचना चाहिए। मनोविज्ञान के छात्र को स्वतंत्र रूप से कार्य कर समाज में अपना योगदान देना चाहिए।
सम्मेलन में एनआईवीएच देहरादून के नैदानिक मनोवैज्ञानिक डॉ. सुरेन्द्र ढलवाल ने कहा कि उन्हें खुशी है। विभाग के द्वारा पूर्व छात्रों को विभाग से जोड़ने की यह पहल की गई है। मनोविज्ञान एक गैर पारम्परिक विषय है। करियर के दृष्टिकोण से इसमें यात्रा लम्बी अवश्य होती है लेकिन इसमें असीम संभावनाएं है। मनोविज्ञान विभाग के प्रो. डॉ. अरुण सिंह ने सभी पूर्व छात्रों को अवगत कराया कि विभाग में पीजी डिप्लोमा आगामी सत्र से आरम्भ किया जा रहा है। आगामी सत्र से एनईपी के अनुसार पाठ्यक्रम भी विभाग के लागू कर दिया गया है। कार्यक्रम में ऑनलाइन माध्यम से देश के विभिन्न कोनों से मनोविज्ञान विभाग के छात्र जुड़े और सभी ने अपने अनुभव और सुझाव साझा किए। इस अवसर पर डॉ. अजित तोमर, डॉ. दीपक सिंह, डॉ. नवीन पन्त, डॉ. विक्रम सिंह सहित विभागीय शिक्षक और कई शोध छात्र उपस्थित रहे।