एनेस्थेटिक स्पेशलिस्ट बढ़ने से मरीजों को समय पर मिलेगा इलाज
फार्माकोलॉजी (आरएसएसीपी) की एक दिवसीय मिड-टर्म राष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया। जिसमें देशभर से 175 प्रतिनिधि सहित शोधार्थी शामिल हुए। मुख्य अतिथि कुलपति महानिदेशक शैक्षणिक विकास डॉ. राजेंद्र डोभाल, डॉ. विजेंद्र चौहान और आरएसएसीपी के अध्यक्ष डॉ. इंद्राणी हेमंत कुमार ने संस्थापक डॉ. स्वामी राम के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। कुलाधिपति डॉ. विजय धस्माना ने कहा कि इस तरह के आयोजनों से विशेषज्ञों को अनुभव साझा करने का मौका मिलता है। डॉ. राजेंद्र डोभाल ने कहा कि इस तरह की कॉन्फ्रेंस से मरीजों को अधिक फायदा पहुंचाया जा सकता है।
आरएसएसीपी के अध्यक्ष डॉ. इंद्राणी हेमंत कुमार ने फैकल्टी व छात्र-छात्राओं की जानकारी अपग्रेड करने के लिए इस तरह की कॉन्फ्रेंस को जरूरी बताया। डॉ. विजेंद्र चौहान ने कहा कि एनेस्थेटिक स्पेशलिस्ट की संख्या बढ़ाई जानी चाहिए, जिससे मरीज को समय पर उचित इलाज मिल सकेगा। आयोजन समिति की अध्यक्ष डॉ. वीना अस्थाना ने कहा कि कॉन्फ्रेंस में एडवांस्ड एयरवे स्किल्स, लेबर एनाल्जेसिया और कम्युनिकेशन स्किल्स पर तीन कार्यशालाएं आयोजित की गई। इस अवसर पर डॉ. अशोक देवराड़ी, डॉ. तेज कौल, डॉ. अंजू ग्रेवाल, डॉ. विशाल सिंगला, डॉ. दिव्या गुप्ता, डॉ. गुरजीत खुराना, डॉ. पारुल जिंदल, डॉ. निधि कुमार मौजूद रहे।